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शास्त्रीय संगीत एवं वाद्य यंत्र दोनों भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत :-रवि झुनझुनवाला.

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शास्त्रीय संगीत एवं वाद्य यंत्र दोनों भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत :-रवि झुनझुनवाला.* 

एलएनजे भीलवाड़ा ग्रुप की फ्लैगशिप सांस्कृतिक कार्यक्रम *भीलवाड़ा सुर संगम (बीएसएस ) 2023* दिल्ली के हृदय स्थल स्थित कमानी ऑडिटोरियम में धूमधाम से मनाया गया. इस अवसर पर भारतीय संस्कृति सभ्यता और संगीत का समागम देखने को मिला .कार्यक्रम के आयोजक ग्रुप के सीएमडी रवि झुनझुनवाला ने गत 10 वर्षों से भीलवाड़ा सुर संगम कार्यक्रम विधिवत आयोजित कर अपनी सामाजिक दायित्व को निर्वाह कर रहे है . 

       दिल्ली के कमानी सभागार में उत्सुकता से प्रतीक्षित भीलवाड़ा सुर संगम 2023 की शुरुआत  एक भारतीय शास्त्रीय संगीत गायन समारोह से हुआ है उत्सव के दसवीं संस्करण अध्याय में पहले दिन प्रसिद्ध गायिका *विदुषी पद्म श्री अरुणा साईराम का प्रदर्शन* उत्सव के पहले दिन का मुख्य आकर्षण था, क्योंकि उन्होंने अपनी असाधारण प्रतिभा और शास्त्रीय संगीत की महारत का प्रदर्शन किया, जिसने दर्शकों को अपनी भावपूर्ण आवाज से मंत्रमुग्ध कर दिया। उनके प्रदर्शन ने भारत की विविध संगीत परंपराओं को श्रद्धांजलि दी और भीलवाड़ा सुर संगम की सच्ची भावना पर कब्जा कर लिया। 

एलएनजे भीलवाड़ा समूह के अध्यक्ष रवि झुनझुनवाला ने उन्हें पद्मश्री मिलने पर प्रसन्नता व्यक्त की। उत्सव के पहले दिन कई शास्त्रीय संगीत प्रेमियों, आलोचकों और प्रसिद्ध संगीतकारों ने अपनी सहभागिता दी और  मौजूद सभी संगीत प्रेमियों के द्वारा तालियों की गड़गड़ाहट से आभार व्यक्त किया क्योंकि उन्होंने शास्त्रीय  रागों की विभिन्न मुखड़ो की की भावपूर्ण प्रस्तुति दी, जिससे वे मंत्रमुग्ध हो गए। भीलवाड़ा सुर संगम महोत्सव 2023 भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के उत्सव के हिस्से के रूप में शास्त्रीय संगीत की दुनिया के कुछ महानतम उस्तादों को प्रदर्शित करता है।  बीएसएस का मुख्य उद्देश्य शास्त्रीय संगीत को बढ़ावा देना और संरक्षित करना है। 

दूसरे दिन के सत्र में *श्री विनायक चित्तर द्वारा सितार वादन* प्रस्तुत किया गया . 

इसके उपरांत 12 वर्षों के बाद *ग्वालियर घराने के विख्यात गायक कुमार गंधर्व के पुत्र पंडित मुकुल शिवपुत्र* ने अपनी प्रस्तुति दी तथा यहां संगीत घराने के सुरों का संगम उनकी गायकी में साफ़ दिखी। *उन्होंने कौशी, मिस्र गारा ,पीलू जैसे रागों में* संकलित रचनाएं गाकर श्रोताओं का मन मोह लिया! 

एलएनजे ग्रुप के ओएसडी रजनीश वर्मा ने जानकारी दी की संगीत प्रेमियों को इस सांस्कृतिक कार्यक्रम में शामिल होने और भारतीय शास्त्रीय संगीत के आकर्षण का अनुभव करने के लिए ग्रुप द्वारा सदैव प्रोत्साहित किया जाता रहेगा

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