November 22, 2024

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मासूम बेटे की हत्या की,रातभर शव के साथ सोती रही:पति के मोबाइल से फोटो किए डिलीट; पुलिस के आने पर कहा-हां, मैंने मार दिया

मासूम बेटे की हत्या की,रातभर शव के साथ सोती रही:पति के मोबाइल से फोटो किए डिलीट; पुलिस के आने पर कहा-हां, मैंने मार दिया

जयपुर

जयपुर के रेनवाल में एक मां ने अपने ही मासूम बेटे की गला घोंटकर हत्या कर दी। हत्या के बाद रातभर बेटे की डेड बॉडी के साथ सोती रही। पति के मोबाइल से खुद और बेटे के सारे फोटो डिलीट कर दिए। इसके बाद अगली सुबह खेत पर काम करने भी पहुंच गई।
दादी ने जब बच्चे को निढाल देखा तो शोर मचाया। तब जाकर हत्या की वारदात का पता लगा। वारदात रेनवाल के बीरमपुरा गांव की है। आरोपी मां को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया और जेल भिजवा दिया है।
आखिर ऐसा क्या हुआ कि एक मां ने अपने ही चार साल के मासूम की हत्या कर दी? इन सवालों के जवाब जानने भास्कर टीम रेनवाल थाना इलाके के बीरमपुरा गांव में पहुंची। बच्चे के परिवार से बातचीत में कई बातें निकल कर सामने आईं गांव में सन्नाटा, परिवार में मिलने वालों का तांता मुंडयागढ़ जीएसएस के सामने से एक कच्चा-पक्का रास्ता बीरमपुरा गांव के लिए जाता है। इस रास्ते पर कुछ आगे बढ़ते ही जब बीरमपुरा गांव का रास्ता पूछा तो एक व्यक्ति ने कहा कि उसी गांव में जाना है क्या, जहां बच्चे को उसकी मां ने मार दिया। हमने हामी भरी और बताए रास्ते पर बढ़ गए। करीब ढाई किलोमीटर के बाद बीरमपुरा गांव शुरू हुआ। बच्चे की हत्या की घटना के बाद गांव में सन्नाटा पसरा हुआ था।
मुकेश के घर के बाहर पहुंचे। लोग परिवार को सांत्वना देने के लिए पहुंच रहे थे। जैसे ही इस घटना को लेकर बात शुरू की तो लोगों ने कहा- हमारे गांव को इस महिला ने बदनाम कर दिया है। खुद के ही बच्चे को कौन मार सकता है? लोगों का कहना था कि महिला को कड़ी से कड़ी सजा मिले। मासूम को इंसाफ मिले
बीरमपुरा गांव में रहने वाले मुकेश चौधरी (36) ने बताया कि उनकी शादी साल 2019 में वाराणसी (उत्तर प्रदेश) निवासी सरिता कुमारी के साथ हुई थी। लड़की के परिवार को एक लाख रुपए देकर कोर्ट मैरिज हुई थी। दीक्षांत का जन्म फरवरी 2020 में हुआ था।
मुकेश ने बताया कि शादी के तीन साल तक तो सरिता का व्यवहार परिवार और उसके प्रति ठीक था। लेकिन, पिछले एक साल से आए दिन घर में झगड़े होने लगे थे। वह बार-बार अपने घर बनारस जाने लगी थी। इसी बात को लेकर ज्यादा लड़ाई-झगड़ा होता था। अभी 9 नवंबर को सरिता के पिता नंदलाल उसे लेने के लिए आए थे।
सरिता ने दीक्षांत को भी साथ ले जाने की जिद की। जब परिवार ने मना किया तो उसने झगड़ा शुरू कर दिया। परिवार ने दीक्षांत को साथ नहीं भेजा। ऐसे में सरिता पिता के साथ अपने पीहर चली गई थी। इसके बाद 17 तारीख को वह वापस आई थी। वापस आने के बाद उसके व्यवहार में बदलाव नजर आने लगा था। घर के कामों से वह दूर रहने लग गई थी।

माता-पिता से भी बात करना बंद कर दिया था।

मुकेश की मां मोहिनी देवी ने बताया कि 18 नवंबर को परिवार में शादी थी। भात भरने का कार्यक्रम भी था। उस कार्यक्रम में जाने से भी सरिता ने मना कर दिया था। पूरा परिवार भात के कार्यक्रम में गया था, लेकिन सरिता नहीं गई।

तीन दिन से अपने पास ही सुला रही थी बेटे को

मुकेश ने बताया कि दीक्षांत दादा-दादी से काफी लगाव रखता था। दिनभर दादा-दादी के पास खेलता था। मैं मंडा गांव में फैक्ट्री में काम करता हू। मंगलवार (19 नवंबर) को सुबह अपनी ड्यूटी पर गया था। उस दिन शाम को साढ़े सात बजे तक दीक्षांत अपने दादा-दादी के साथ खेल रहा था। करीब साढ़े सात बजे सरिता बच्चे को लेने के लिए दादी के पास गई। लेकिन, दीक्षांत ने मना कर दिया।
मुकेश चौधरी ने बताया कि सरिता ने बच्चे को मोबाइल का लालच दिखाया। मोबाइल में वीडियो दिखाते हुए अपने साथ ले गई। मकान में अंदर की तरफ हमारा अलग से कमरा बना हुआ है। सरिता बच्चे को लेकर कमरे में आ गई और दरवाजा बंद कर दिया।
आमतौर पर दीक्षांत अपनी दादी के पास सो जाता था। लेकिन, पिछले तीन दिन से सरिता लगातार उसे साथ लेकर सो रही थी।
मुकेश ने बताया कि मैं रात करीब दस बजे फैक्ट्री से घर लौटा। खाना खाकर कमरे में पहुंचा तो दीक्षांत सोता नजर आया। उस पर सरिता ने चद्दर डाल रखा था। जब सरिता से पूछा कि दीक्षांत सो गया क्या तो उसने कहा कि इसे आज जल्दी नींद आ गई थी।

मर्डर करने के बाद खेत पर काम करने गई थी

मुकेश ने बताया कि रात करीब नौ बजे ही सरिता ने बेटे दीक्षांत की गला घोंटकर हत्या कर दी थी। इसके बाद रातभर वह लाश के पास ही सोती रही। मुझे इसकी भनक भी नहीं लगी।
मुकेश ने बताया- रात को उसे नींद आने के बाद सरिता ने उसका मोबाइल लेकर दीक्षांत और खुद के जितने भी फोटो थे, वह डिलीट कर दिए थे। सुबह 6 बजे उठा तो देखा कि सरिता खेत पर काम करने गई हुई थी। आमतौर पर दीक्षांत सुबह 5 बजे उठ जाता था। लेकिन, उस दिन 6:30 बजे तक नहीं उठा तो उसकी दादी दूध लेकर पहुंची।
उसने दीक्षांत को उठाया, लेकिन वह निढाल था। इस पर दादी ने शोर मचाया। मुकेश ने बताया कि उस वक्त मैं घर पर ही मौजूद था। हम बच्चे को लेकर स्थानीय अस्पताल पहुंचे। जहां डॉक्टर्स ने उसे मृत घोषित कर दिया।
मुकेश के चाचा हरिप्रसाद ने बताया कि जब मुकेश बच्चे को लेकर अस्पताल पहुंचा था, तब उसने सरिता से पूछा भी था कि बच्चा रात को तुम्हारे साथ सोया था तो उसे क्या हुआ? इस पर उसने कहा कि उसे कुछ नहीं पता, रात को खाना खाकर सोया था।
हरिप्रसाद ने पुलिस को सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची और जांच शुरू की। शव का पोस्टमाॅर्टम करवाया गया।
पुलिस ने पूछा तो बोली- मैंने मार दिया मुकेश ने बताया कि घटना के बाद जब पुलिस मामले की जांच के लिए पहुंची और सरिता से पूछा कि रात को बच्चे के साथ क्या हुआ था, उसे कोई दवाई दी थी या उसकी तबीयत खराब थी? इस पर सरिता ने कहा कि मैंने उसे मार दिया। इसके बाद पुलिस ने उसे हिरासत में ले लिया।
रेनवाल सीआई सुरेंद्र कुमार ने बताया कि पति मुकेश ने महिला पर शक जताते हुए बच्चे की हत्या की रिपोर्ट दी थी। जिस पर मुकदमा दर्ज कर लिया और महिला से पूछताछ के बाद उसे गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ में सामने आया कि सरिता और मुकेश के बीच मनमुटाव चल रहा था। कुछ दिन पहले भी दोनों में झगड़ा हुआ था। इसके बाद वह पीहर चली गई थी। उस समय भी वह बच्चे को ले जाना चाहती थी, लेकिन बच्चा नहीं गया।
वापस आने के बाद वह फिर से बच्चे को अपने साथ बनारस ले जाना चाहती थी। लेकिन, बच्चा यहां से नहीं जाना चाहता था और परिवार के लोग भी बच्चे को नहीं ले जाने दे रहे थे।
पुलिस सूत्रों के अनुसार- पूछताछ में सरिता ने बताया कि उसके साथ मारपीट भी की गई थी। दो दिन से उसने खाना नहीं खाया था और मानसिक रूप से परेशान थी। ऐसे में उसने यह कदम उठा लिया। वह नहीं चाहती थी कि दीक्षांत उसके पिता के पास रहे। वह चाहती थी कि दीक्षांत उसके साथ जाए नहीं तो वह उनके साथ नहीं रहने देगी। ऐसे में उसने मर्डर कर दिया।

पति बोला- बच्चे को साथ लेकर मुझे छोड़ने की कोशिश कर रही थी

इधर, मुकेश ने बताया कि करीब एक साल से सरिता का व्यवहार बदला हुआ था। वह पहले तो साल में एक बार ही पीहर जाती थी। लेकिन, पिछले एक साल में वह चार बार एक-एक महीने तक पीहर में रहकर आई थी। मुकेश और उसके परिवार का आरोप है कि सरिता और उसके घरवालों ने मिलकर कोई प्लान बनाया था। इसके तहत वह चाहते थे कि सरिता बच्चे को लेकर पीहर चली जाए।
मुकेश ने आरोप लगाया कि सरिता दूसरी शादी करना चाहती थी। इस वजह से वह दीक्षांत को भी यहां से लेकर जाना चाहती थी। लेकिन, जब उसे नहीं ले जाने दिया तो उसकी हत्या कर दी। हालांकि पुलिस का कहना है कि शुरुआती पूछताछ में मर्डर करने का कारण महिला ने बच्चे को अपने साथ नहीं ले जाना बताया है। महिला को पूछताछ के बाद कोर्ट में पेश कर जेल भिजवाया गया है।

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